यूपी में भाजपा की सहयोगी अपना दल (एस) के साथ गठबंधन के भविष्य पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं । यह संकट उत्तर प्रदेश में होने वाले आगामी विधानसभा उपचुनाव को लेकर है।इस उपचुनाव प्रतापगढ़ सदर सीट भी शामिल है. जहां अपना दल का विधायक था इस सीट पर भाजपा का प्रदेश नेतृत्व अपना उम्मीदवार उतारना चाहता है लेकिन अपना दल चाहती है यह सीट उसे मिले. विधानसभा चुनाव में चुनाव पूर्व गठबंधन के तहत बीजेपी ने अपना दल को जो 11 सीटें दी थी, उसमें प्रतापगढ़ सदर सीट भी थी।इस सीट पर संगम लाल गुप्ता जीते थे, जिसे बीजेपी ने अपने टिकट पर प्रतापगढ़ से लोकसभा चुनाव लड़ाया. इसकेबाद प्रदेश इकाई ने प्रतापगढ़ सदर सीट पर फैसला लेने की जिम्मेदारी केंद्रीय नेतृत्व पर छोड़ दिया है. बीजेपी सूत्रों का बोलना है कि प्रदेश इकाई इस सीट पर खुद चुनाव लडना चाहती है. दूसरी ओर लोकसभा चुनाव के बाद से लगातार कई झटके खा चुका अपना दल इस सीट को किसी मूल्य पर छोडने के लिए तैयार नहीं है।
पार्टी चाहती है कि बीजेपी आलाकमान जल्द से जल्द इस पर फैसला ले कर स्थिति साफ करे. लोकसभा चुनाव के बाद बीजेपी ने अपना दल को केंद्रीय मंत्रिमंडल से दूर रखते हुए अनुप्रिया पटेल को मंत्री नहीं बनाया. इसके बाद योगी सरकार के मंत्रिमंडल विस्तार में भी उनके पति आशीष पटेल को स्थान नहीं दी गई. उनका नाम अंतिम समय में सूची से हटाया गया ।
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