एक मई से हर हाल में खाद्यान्न वितरण का काम शुरू हो जाना चाहिए:CM योगी

एक मई से हर हाल में खाद्यान्न वितरण का काम शुरू हो जाना चाहिए:CM योगी


मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लाॅकडाउन पर सख्ती से अमल के साथ साथ कोरोना पीड़ितों के इलाज पर खास जोर दिया  है।  उन्होंने एल-1, एल-2 व एल-3 डेडिकेटेड कोविड अस्पतालों की क्षमता का विस्तार करने को कहा है। साथ ही उन्होंने हर जिले में 15 सौ से 25 सौ क्षमता के क्वारंटीन सेंटर खोलने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि 1 मई से खाद्यान्न वितरण का काम शुरू हो जाना चाहिए। 3 मई के  बाद औद्योगिक गतिविधियां शुरू करने के लिए कार्य योजना बनाई जाए। 


मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ हुई वीडियो कांफ्रेंसिंग में शिरकत की। वहां से मिले निर्देशों को उन्होंने टीम -11 के साथ बैठक में चर्चा कर उस पर अमल कराने को कहा।  उन्होंने कहा कि राज्य में आपातकालीन चिकित्सा सेवाएं तत्काल बहाल की जाएं। राज्य के अधिकतर निजी चिकित्सालय भी आयुष्मान योजना से आच्छादित हैं। इनमें भी सुरक्षात्मक उपाय अपनाकर आपातकालीन चिकित्सा सेवाएं प्रारम्भ की जा सकती हैं। कोविड-19 पर नियंत्रण के लिए अस्पताल आने वाले प्रत्येक मरीज की स्क्रीनिंग अत्यन्त आवश्यक है। 


मुख्यमंत्री ने कहा कि लाॅकडाउन व्यवस्था का प्रभावी पालन  कराया जाए। उन्होंने निर्देश दिए हैं कि 1 मई, 2020 से जरूरतमन्दों के लिए खाद्यान्न वितरण की कार्यवाही पुनः प्रारम्भ की जाए। उन्होंने शेल्टर होम्स और क्वारंटीन होम्स को जियो टैग कराने के निर्देश भी दिए। 


हाटस्पाट क्षेत्रों में रहने वाले कर्मी कार्यस्थल पर न जाएं 
मुख्यमंत्री  ने कहा कि हाटस्पाट क्षेत्रों में रहने वाले कर्मी कार्यस्थल पर न जाएं। हाटस्पाट इलाकों में केवल होम डिलीवरी, स्वास्थ्य व सेनिटाइज़ेशन से संबंधित कर्मियों के आने-जाने की अनुमति दी जाए। अन्य व्यक्तियों की आवाजाही पर पूर्ण पाबन्दी लगायी जाए। हाटस्पाट क्षेत्रों में प्रत्येक घर को सेनिटाइज़ कराया जाए।  टेस्टिंग बढ़ाने के लिए पूल टेस्ट को बढ़ावा दिया जाए।


मुख्यमंत्री ने कहा कि क्वारंटीन सेण्टर्स में एनसीसी के प्रशिक्षित स्वयंसेवक तैनात किए जाएं। सभी 52 मेडिकल कालेजों में कोविड अस्पताल बनाया जाए। जिन जनपदों में मेडिकल कालेज नहीं हैं, वहां जिला चिकित्सालय को कोविड अस्पताल बनाया जाए। सभी जिलों में अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी के स्तर के अधिकारी को चिकित्सकों व पैरामेडिकल स्टाफ के प्रशिक्षण की जिम्मेदारी दी जाए। उन्होंने कहा कि डिग्री व इण्टर कालेजों के प्रधानाचार्यों व शिक्षकों को भी प्रशिक्षित किया जाए। आवश्यकतानुसार मोबाइल एप विकसित कराया जाए। 


 उन्होंने पीपीई किट, एन-95 मास्क की नियमित आपूर्ति सुनिश्चित करने के निर्देश भी दिए। चिकित्सा सेवाएं उपलब्ध कराने के लिए टेलीमेडिसिन व्यवस्था को बढ़ावा दिया जाए।उन्होंने 3 मई, 2020 के उपरान्त औद्योगिक गतिविधियों के संचालन के सम्बन्ध में कार्ययोजना बनाने के निर्देश दिए।



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